मुंबई । स्टार न्यूज टूडे । कपिलदेव खरवार
ऐसे समय में जब देश का युवा वर्ग धन के लोभ में डॉक्टर वकील इंजिनीयर और सीए क्रिकेटर अभिनेता आदि बनने की राह पर चलने के लिए तत्पर हैं। वहीं मुंबई के जैन समाज का उच्च शिक्षा प्राप्त एक नौजवान अंश कुमार अजय हीरावत भगवान महावीर के रास्ते पर चलने के लिए कई महिनों से नंगे पांव चलकर अपने को मजबूत बना रहा है।
मुंबई के पूर्व उपमहापौर और भाजपा मुंबई हॉकर प्रकोष्ठ के अध्यक्ष बाबू भाई भवान जी ने दादर पूर्व स्वामी नरायण मंदिर सभागृह में अंश कुमार के दीक्षांत समारोह में अपने समाज के सैकड़ों लोगों को सम्बोधित करते हुए कहा।वो यहीं नहीं रुके बल्कि अपने आगे के व्याख्यान उन्होंने कहा कि अंश कुमार के माता पिता हीरे के बड़े व्यापारी हैं।उनके पास किसी भी चीज की कोई कमी नहीं है।इतने बड़े और संपन्न परिवार से ताल्लुक रखने वाले अंश ने मोक्ष की प्राप्ति और भगवान महावीर के अनमोल वचन को पूरी दुनिया में अत्यंत सुंदर ढंग से प्रचार और प्रसार के लिये अपना पूरा जीवन जैन धर्म को समर्पित कर दिया है।उसने अपने इस त्याग और समर्पण से हमारे जैन समाज का गौरव बढाया है।यह बालक आने वाले दिनों का भगवान महावीर स्वामी है।
जैन समाज के अग्रणी नरेंद्र हीरावत ने अपने उद्द्गार में कहा कि इस नश्वर संसार में जीवन क्षण भंगुर है।कुमार अंश अजय हीरावत ने मात्र 23 वर्ष की अल्प आयु में अपने आप को मोक्षगामी बनाने की ठान लिया है।उसके पास व्यापर और पैसा दोनों भी है।लेकिन उसने जैन धर्म का सबसे कठिन मार्ग वैराग्य को चुना है।अंश आज हम सभी के पांव छूकर आशीर्वाद ले रहा है।लेकिन आने वाले समय में पूरी दुनिया उसका केवल दर्शन मात्र लेकर अपने को धन्य मानेगी।इस सभागार में मंच पर विराजमान अंश के माता पिता अभिलाषा अजय हीरावत को जैन समाज की तरफ से कोटि कोटि प्रणाम और इनकी चेतना को नमन करते हुए बस इतना ही कहना चाहूँगा कि धन्य हैं ये पति पत्नी जिन्होंने अपने बालक अंश जिगर के टुकड़े को इस कठिनतम मार्ग पर चलने के लिए अनुमती दी है।
कवि युगराज जैन ने अपनी ओजस्वी वाणी और कविताओं से अंश को अपना पूरा आशीर्वाद दिया।मुंबई भाजपा अध्यक्ष मंगल प्रभात लोढ़ा,जलिस तातेड़,विपिन दोषी ने भी अंश को अपना आशीर्वाद दिया।महिलाओं ने कार्यक्रम के शुरुआत मंगल गीत गाये।
श्री जैन रत्न हितैषी श्रावक संघ मुंबई द्वारा आयोजित किया गया कार्यक्रम में मुमुक्षु की रथ पर शोभा यात्रा उनके निज गृह गोखले रोड से निकाली गई और स्वामी नारायण मंदिर पर समाप्त हुई जहाँ बाबू भाई भवान जी ने मुमुक्षु का स्वागत किया।और उनको कन्धों पर बिठा कर सभागार में ले जाया गया ।
कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए गौतमचंद मेहता,सुरेन्द्र मेहता,मोफतराज मुनोत,वीरेंद्र डागा,पुखराज मेहता,अमर वाफना ने बहुत परिश्रम किया।
फोटो कपिलदेव खरवार